सूर्यकांत त्रिपाठी निराला का जन्म सन्न 1897 में पं. बंगाल में हुआ था। इनके पिता का नाम श्री रामसहाय त्रिपाठी था। इन्होंने घर में ही रहकर अंग्रेजी, बंगला एवं संस्कृत भाषा का अध्ययन किया। इनकी मृत्यु 15 अक्टूबर, 1961 में हुई थी।
निराला जी आधुनिक काल के प्रगतिवादी कवि थे। वे छायावादी काव्य युग के प्रमुख स्तंभ माने जाते हैं और उनमें छायावाद की समस्त झुकाव को देखा जा सकता है। उनका क्रांतिकारी प्रगतिशील, विद्रोही और बेबाक व्यक्तित्व । काव्य के अतिरिक्त गद्य साहित्य को भी संपन्न करने में निराला ने योगदान दिया है। निराला आधुनिक हिन्दी के सबसे बड़े क्रांतिकारी और प्रयोगधर्मी कवि है।